Books in library

संत रविदास का जीवन मानवता और प्रेम का प्रतीक

संत रविदास का जीवन मानवता और प्रेम का प्रतीक: विनोद पटेल

वीरेंद्र कुमार राव, बहराइच। संत रविदास जयन्ती के अवसर पर पं. रामनरेश इण्टर कालेज फखरपुर के परिसर में आयोजित दलित चेतना सम्मेलन एवं विचार गोष्ठी का मुख्य अतिथि मा. सदस्य, राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग, उ.प्र. विनोद कुमार पटेल ने विशिष्ट अतिथि विधानसभा कैसरगंज के संयोजक गौरव वर्मा, आरएसएस के विभागीय कार्यवाह अम्बिका प्रसाद, मण्डल अध्यक्ष फखरपुर अभिषेक शुक्ला, नायब तहसीलदार सचिन कुमार श्रीवास्तव के साथ दीप प्रज्ज्वलित कर तथा संत रविदास जी के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया। जबकि विद्यालय की छात्राओं द्वारा स्वागत गीत भी प्रस्तुत किया गया। मुख्य अतिथि श्री पटेल ने कार्यक्रम स्थल पर मौजूद मीडिया प्रतिनिधियों को अंगवस्त्र भेंटकर सम्मानित भी किया।

कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए मुख्य अतिथि श्री पटेल ने कहा कि संत रविदास जी मध्यकाल में भारत के एक प्रसिद्ध संत थे। जिन्हेें संत शिरोमणि की उपाधि दी गई है। संत रविदास जी ने रविदासीया, पंथ की स्थापना की और इनके द्वारा रचित कुछ भजन सिख समुदाय के पवित्र ग्रंथ गुरुग्रंथ साहिब में भी शामिल हैं। रविदास जी की संत परम्परा बहुत उच्च कोटि की रही।

श्री पटेल ने कहा कि हमें संत रविदास जी से प्रेरणा लेते हुए उनके द्वारा बताये गये रास्ते पर चलकर समाज की सेवा करते रहे। संत रविदास का जीवन मानवता और प्रेम का प्रतीक था, और उनकी शिक्षाएं आज भी समाज को सही दिशा दिखाने में सक्षम हैं। विशिष्ट अतिथि गौरव वर्मा, जगदंबिका वर्मा, आयोजक पेशकार यादव व अन्य वक्ताओं मौजूद रहे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *